करवा चौथ की शुभकामनायें
करवा व्रत करवा रहा, भला कौन नादान |
रत्ती भर माने नहीं, रविकर यह एह'सान |
रविकर यह एह'सान, जिन्दगी लम्बी पाई |
पाई पाई किन्तु, वसूले रोज *लुगाई |
इक दिन हाथों-हाथ, शेष दिन देती मरवा |
जनम जनम का साथ, करो फिर काहे करवा ||
*पत्नी
बेहतरीन
ReplyDeleteअतिसुन्दर !!
ReplyDeleteभाई जी बहुत सुन्दर |
ReplyDeleteनई पोस्ट महिषासुर बध (भाग तीन)
रविकर यह एह'सान, जिन्दगी लम्बी पाई |
ReplyDeleteपाई पाई किन्तु , वसूले रोज *लुगाई |
बहुत बढ़िया रविकर जी,,,,
लौट के आये करवाचौथ का लड्डू खाये सुंदर स्वागत है :)
ReplyDeleteबहुत सुन्दर
ReplyDeleteहास्य का अंश लिए मस्त कुंडली ...
ReplyDeleteयार इतना क्रूर न बनो .
ReplyDeleteसारे दिन में घर में खटे,पाए न विश्राम ,
पति परमेश्वर के बिना न ही कोई धाम .